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इस ग्रह पर हो रही है भयंकर गरम लोहे की बारिश Extreme Planets In Hindi

वैज्ञानिकों ने खोजे सबसे खतरनाक ग्रह जहाँ कोई नहीं जा सकता

हमारे सौरमंडल (solar system) से बाहर कई हजारों ग्रह मौजूद हैं,  जिन्हें लेकर वैज्ञानिक हमेशा से उत्सुक रहते हैं। पिछले कई सालों में खगोलविदों (astronomers) ने हमारी आकाशगंगा में ऐसे अद्भुत ग्रह खोजे हैं जो हमारी कल्पना से भी परे हैं। ये बहिर्ग्रह यानि  (exoplanets) दिखने में तो किसी सामन्य ग्रह जैसे दिखाई देते हैं, पर इनके अन्दर जो होता है, वो किसी भी इंसान के होश उड़ा सकता है।  इसके साथ ही, कुछ ग्रह ऐसे भी हैं जो बेहद शांत जरूर लगते हैं। पर भविष्य में ये हमारे लिए खतरा भी बन सकते हैं।आपने शायद ही कभी ऐसे ग्रह को देखा होगा, जहाँ लगातार काँच की बारिश होती है। लोहे की बारिश वाले ग्रह की कल्पना तो कोई सपने में भी नहीं कर सकता।  खैर, आज आप कुछ ऐसे ही अविश्वसनीय ग्रहों (Extreme Planets In Hindi) से मिलने वाले हैं !

इस ग्रह पर होती है लगातार काँच की बारिश (HD 189733b – Planet that rains glass ) 

आमतौर पर ग्रहों पर, जैसे कि पृथ्वी और हमारे सौरमंडल के बाकी ग्रहों पर पानी या acid की बारिश होती है। पर हमारे सौरमंडल से करीब 64 प्रकाश वर्ष (light years) दूर, constellation Vulpecula में मौजूद है एक ऐसा ग्रह , जहाँ किसी liquid की नहीं, बल्कि काँच (glass) की बारिश होती है।  ये सुनने में भले ही अजीब लगे, पर दोस्तों HD 189733b नामके इस exoplanet में पिघले हुए काँच की भयंकर बारिश होती है। इस ग्रह को 5 अक्टूबर, 2005 को सबसे पहले खोजा गया था।

HD 189733b Illustration | Credits : NASA

चमकीले नीले रंग का ये ग्रह, देखने में भले ही शांत लगता है, पर इस ग्रह का मौसम किसी की भी जान ले सकता है। वास्तव में ये एक hot Jupiter planet है। इसका औसतन तापमान 1000 डिग्री सेल्सियस से भी ज्यादा का है | ये बेहद करीब से 150 km/s से भी ज्यादा की तेज रफ्तार से अपने तारे की परिक्रमा लगाता है।

इसके वायुमंडल (atmosphere) में, जलवाष्प (water vapors), neutral oxygen, carbon monoxide और methane जैसे जैविक मिश्रण मौजूद हैं।  ये मिश्रण करीब 8,700 km/h की रफ्तार से बहने वाली जानलेवा हवाएँ पैदा करते हैं | इसके साथ ही, इसके बाहरी वायुमंडल में silicate के कण भी मौजूद हैं।  ये एक तरफ से गरम होने पर पिघले हुए काँच की तेज बारिश पैदा करते हैं।

इसके वायुमंडल में मौजूद magnesium silicate particles बड़ी तेजी से पिघलना शुरू करते हैं। ये पिघलते हुए काँच के रूप में गिरना शुरू कर देते हैं | जैसे ही ये नीचे आकर ठन्डे होते हैं, तो सख्त काँच में बदलकर तेज हवाओं के जरिए बहने लगते हैं। इसकी वजह से ये ग्रह (Extreme Planets In Hindi) अपने आसपास आने वाली किसी भी चीज को पल में तहस नहस कर सकता है।

ऐसा ग्रह जहाँ हो रही है गरम लोहे की बारिश  Wasp-76 b – (Extreme Planet that rains iron) 

हमसे करीब 640 प्रकाश वर्ष (light years) दूर, constellation Pisces में मौजूद है Wasp-76 b नाम का ultrahot Jupiter planet. यहाँ बड़ी भयंकर लोहे की बारिश होती है। इस ग्रह को सबसे पहले साल 2013 में खोजा गया था, जो अपने मूल तारे की बड़ी तेजी से परिक्रमा लगाता है।

This illustration shows a night-side view of the exoplanet WASP-76b | Credits : Space.com

ये अपने मूल तारे के इतना करीब है, कि चक्कर लगाने की वजह से इसका वायुमंडल एक जैसा बिल्कुल नहीं रहता। इस tidally locked planet (हमेशा एक हिस्सा अपने सूर्य की ओर और दूसरा हिस्सा घनघोर अंधकार में) का औसतन तापमान दिन में 2,500 डिग्री सेल्सियस रहता है। रात में ये तापमान 1500 डिग्री सेल्सियस तक चल जाता है।  ये तापमान किसी भी धातु को आसानी से भाप में बदल सकता है।

इस ग्रह पर बड़ी भारी मात्रा में लोहा मौजूद है। इस ग्रह का सर्वाधिक तापमान और रफ्तार, इसमें मौजूद लोहे के कणों को पूरी तरह से अणुओं में बदल देते हैं। ये आगे चलकर इन्हें भाप में बदल देते हैं। जब ये ग्रह बड़ी तेजी से चक्कर लगाता है, तो इसके सामने वाले हिस्से में बहने वाली बेहद गरम हवाएँ लोहे के कणों को वाष्प में बदलकर दूसरी तरफ भेजना शुरू कर देती हैं। दूसरी तरफ जाते ही, कम तापमान में वो लोहे के कण धीरे-धीरे बादल बनाना शुरू कर देते हैं। इन बादलों में बड़ी मात्रा में iron sulphide/iron hydride मौजूद होते हैं | ये पदार्राथ रात में बारिश के जरिए नीचे गिरते हैं।

सबसे विचित्र बात ये है, कि ये बारिश करीब 18,000 km/h की बड़ी तेज रफ्तार से होती है। पलक झपकते ही किसीका भी खेल खत्म कर सकती है | ये लोहे की बारिश, इस ग्रह (Extreme Planets In Hindi) के पिछले हिस्से में ही होती है। इसीलिए अगर कोई इसे दूर से देखे तो उसे सिर्फ रात में ही एक भीषण लोहे की बारिश दिखाई देगी। अभी तक के खोजे गए सभी exoplanets में, Wasp-76 b planet का ही मौसम ऐसा है, जो सबसे ज्यादा भयंकर और विनाशकारी है।

यह ग्रह कभी भी पृथ्वी से टकरा सकता है (Rogue exoplanet)

हमारी आकाशगंगा में कई ऐसे ग्रह हैं, जो ब्रह्माण्ड में मंडराते ही रहते हैं। इन्हें अक्सर आवारा ग्रह ( Rogue Planet ) कहा जाता है। SIMP J013656.5+093347 नाम का ये ग्रह, हमारे सौरमंडल और खुद हमारी पृथ्वी के लिए एक बड़ा खतरा साबित हो सकता है। ये बाहरी ग्रह , एक brown dwarf planet है, जो हमसे बस 20 प्रकाश वर्ष दूर मौजूद है। हमारी पृथ्वी से 17,000 गुना ज्यादा बड़े इस ग्रह का चुंबकीय क्षेत्र (magnetic field) बेहद खतरनाक है। इस आवारा ग्रह की magnetic field, हमारी पृथ्वी से 40 लाख गुना ज्यादा शक्तिशाली है।

इस ग्रह पर हो रही है भयंकर गरम लोहे की बारिश Extreme Planets In Hindi

भले ही हम चाहकर भी इस ग्रह (Extreme Planets In Hindi) के पास न जा पाएँ, पर ये आवारा ग्रह हमारे सौरमंडल में आकर तबाही जरूर मचा सकता है | इस ग्रह  की रफ्तार और वर्तन काफी ज्यादा है।  इसके प्रक्षेपवक्र (trajectory) को पता कर पाना भी मुश्किल है।  ये ग्रह किसी भी तरह की गर्मी या रौशनी नहीं करता, इसलिए इसको देख पाना संभव नहीं है। वैसे हमारा सौरमंडल और ये ब्रह्माण्ड काफी फैला हुआ है। पर कुछ हद तक संभावना है कि, ये ग्रह किसी प्रकार का टकराव भी पैदा कर सकता है।

इन आवारा ग्रहों पर वैज्ञानिकों कि हमेशा नजर रहती है। किसी भी बाहरी ग्रह का हमारे सौरमंडल में आना एक चिंता का विषय बन सकता है।  फिलहाल हमारे सौरमंडल की स्थिति के अनुसार इन आवारा ग्रहों का पृथ्वी को नुक्सान पहुँचाना लगभग न के बराबर है।.

Shubham

शुभम विज्ञानम के लेखक हैं, जिन्हें विज्ञान, गैजेट्स, रहस्य और पौराणिक विषयों में रूचि है। इसके अलावा ये पढ़ाई करते हैं।

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