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क्या समुद्र में पेशाब करना सही है ? | Is It Right To Pee In Ocean ?

दोस्तों ! हमारा शरीर भी कितना अजीब और जटिल है | एक तो इसके external यानी बाहरी और internal यानी आंतरिक अंगों की बनावट और काम करने का तरीका हमारी समझ में मुश्किल से ही आता है और ऊपर से इसका स्वाभाविक और प्रकृति के अनुरूप तरह तरह के कार्य करना , उदाहरण के तौर पर इंसानों द्वारा मल – मूत्र त्यागना , जिसे हम सभी चाहकर भी बंद करने की कोशिश नहीं कर सकते !

दोस्तों , बचपन में ऐसा आपके साथ शायद जरूर हुआ होगा कि आप कभी विशालकाय समुद्र में मजे लेने और नहाने चले गए हों और थोड़े समय के बाद आपको पता चला कि आपको बड़े जोर से toilet आ गई है और आपके पास अब सही स्थान तक पहुचने का समय नहीं है |

ऐसे में आपने शायद उधर समुद्र में ही अपने शरीर को राहत दिलादी होगी , और बाद में आपको लगा कि आपने शायद ये गलत कर दिया ! दोस्तों ये सवाल काफी चर्चा का विषय है कि क्या sea यानी समुद्र में urine यानी पेशाब करना सही है या नहीं ?

कहीं ऐसा करना कोई खतरे की बात तो नहीं ? तो इधर हम पूरे वैज्ञानिक दृष्टिकोण के आधार पर इसका उत्तर जानेंगे और इसके पीछे के विज्ञान के आधार पर ही सही निर्णय तक पहुंचेंगे !

समुद्र के पानी और पेशाब में समानताएं 

हमारी पेशाब, kidneys द्वारा पैदा होने वाला एक liquid byproduct होता है जिसकी वजह से हमारे शरीर की  bloodstream से waste products बाहर निकाले जाते हैं | आमतौर पर हमारे urine में 91 से 96 % पानी , कुछ organic compounds जैसे कि  urea, creatinine और कुछ salt ions जैसे sodium , chloride और potassium ion मौजूद होते हैं , जहां sodium और chloride ions की मात्रा  , 1 से 2 g/L होती है |

समुद्र के पानी में भी लगभग 96.5 % पानी , 19 g/L chloride ion और 11 g/L sodium ion होता है जो urine में मिलने वाले salt ions ही होते हैं , बस इनकी मात्रा urine के मुकाबले ज्यादा होती है | Potassium ion की मात्रा भी urine और seawater में काफी हदतक लगभग बराबर ही होती है | समुद्र में मौजूद कई trillion लीटर पानी की वजह से इन सभी salt ions की concentration काफी dilute हो जाती है जो कोई खतरे की बात नहीं होती |

समुद्र में नहीं होते ये Chemicals

ध्यान देने वाली बात ये है कि हमारी urine में मौजूद urea और creatinine compounds , seawater में नहीं होते , जो इस चीज को थोड़ा गंभीर बना देता है | ये दोनों compounds , अक्सर हमारे शरीर से nitrogen को बाहर निकालने के लिए अपना काम करते हैं , जिनमें खुद nitrogen की मात्रा काफी ज्यादा होती है |

Creatinine की  मात्रा लगभग , 0.7 g/L होती है और urea की मात्रा थोड़ी concentrated होती है , लगभग 9 से 23 g/L. अब ये urea की ज्यादा मात्रा , एक समस्या लगती है , पर chemical reactions से ये urea जब seawater से react करता है, तो  ammonium molecule produce होता है जो seawater या ocean में मौजूद plants के लिए काफी जरूरी होता है जिसे वो nutrients में convert कर देते हैं | Reasearch के अनुसार , nitrogen containing compounds , seawater में रहने वाले जीवों के लिए खाने का काम करते हैं और उनके विकास के लिए बेहद जरूरी होते हैं |

समुद्र में पेशाब करना , दूसरे लोगों के लिए खतरा है ?

पर दोस्तों ! अब सवाल ये आता है कि क्या ये urine, समुद्र में मौजूद लोगों के लिए हानिकारक है या नहीं ?  इसका जवाब है शायद नहीं ! , क्योंकि आमतौर पर किसी स्वस्थ व्यक्ति के urine में बेहद कम bacteria होते हैं जो शरीर से बाहर निकलने पर अन्य बैक्टीरिया की वजह से ज्यादा दूषित हो जाती है |

पर अगर किसी व्यक्ति को कोई infection हो , तो उसकी urine दुसरे लोगों को थोड़े समय के बाद urinary tract infection दे सकती है , पर समुद्र में इसकी concentration लगभग न के बराबर होने के कारण आमतौर पर ये खतरे की बात नहीं होती |

इसके साथ ही गौर करने करने वाली बात ये है कि समुद्र में रहने वाले जानवर भी समुद्र में ही अपना मल मूत्र त्यागते हैं | एक fin whale, 970 लीटर तक urine एक दिन में बाहर निकालती है जो समुद्र में , हम इंसानों के मुकाबले 23 गुना ज्यादा sodium और chloride जैसे salts को release करती है |

पर फिर भी ये salts , काफी dilute ही रहते हैं | इसके अलावा कई और माध्यमों  जैसे , boats , ships आदि के द्वारा हम इंसानों के waste को seawater में छोड़ा जाता है , पर वहाँ मौजूद जीव इसे breakdown करके energy में convert कर लेते हैं |

इन जगहों पर भूलकर भी पेशाब न करें

खैर दोस्तों , इन सभी facts से ये clear हो जाता  है कि sea यानी समुद्र में urine release करना कोई गलत बात नहीं है , पर इसका मतलब ये नहीं कि हम small water bodies like ponds और swimming pool में ऐसा करने लगें |

क्योंकि इनमें पानी की मात्रा समुद्र के मुकाबले काफी कम होती है जिसकी वजह से हमारी urine के salts की concentration यहाँ ज्यादा हो जाती है | सबसे serious बात तो ये है कि हमें कभी भी अपनी urine वहाँ नहीं रिलीज़ करनी चहिये जहां coral reefs मौजूद हों क्योंकि ऐसा करने से urine में मौजूद urea, algae और seaweed को जन्म देता है जो उन coral और अन्य जीवों को सही मात्रा में sunlight नहीं लेने देते,  जिसकी वजह से उनका विकास रुक जाता है और एक ecosystem में imbalance यानी असंतुलन होने लगता है जोकि हमारे लिए ठीक नहीं है |

swimming पूल की बात करें , तो उसके पानी को अक्सर chlorine से साफ़ किया जाता है जो urine में मौजूद uric acid  से अगर react करती है , तो Cyanogen Chloride and Trichloramine जैसे compounds को जन्म देती है जो swimming पूल में मौजूद बाकी लोगों को skin irritation और respiratory यानी श्वास सम्बन्धी समस्याएं दे सकते हैं |

Shubham

शुभम विज्ञानम के लेखक हैं, जिन्हें विज्ञान, गैजेट्स, रहस्य और पौराणिक विषयों में रूचि है। इसके अलावा ये पढ़ाई करते हैं।

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