Other World Kingdom – 21वीं सदी में कोई भी किसी की गुलामी नहीं करना चाहता। भारत जैसे देश में आमतौर पर महिलाओं को गुलामी सहनी पड़ती है। लेकिन दुनिया में एक ऐसा देश है, जहां पुरुष महिलाओं की गुलामी करते हैं। हैरत की बात तो यह है कि यहां महिलाएं पुरुषों को गुलामी के लिए ही रखती हैं।
वुमन ओवर मेन
‘वुमन ओवर मेन’ मोटो वाले इस देश का शासन भी महिला के हाथ में है। यह देश ‘अदर वर्ल्ड किंगडम’ है, जो 1996 में यूरोपियन देश चेक रिपब्लिक से बना था। इस देश की रानी पैट्रिसिया-1 है, जिसका यहां एकछत्र राज चलता है। हालांकि, इसे अन्य राष्ट्रों ने देश का दर्जा नहीं दिया है। इस देश की राजधानी ब्लैक सिटी है।
चेक रिपब्लिक में स्थित इस देश का अपना झंडा, करेंसी, पासपोर्ट और पुलिस फोर्स है। यहां की मूल नागरिक सिर्फ महिलाएं हैं। यहां पुरुषों को जानवर ही समझा जाता है। पुरुष गुलामों से ऊपर कुछ भी नहीं माने जाते हैं। इस देश के निर्माण में दो मिलियन डॉलर (12 करोड़ रुपए) की लागत आई थी।
महारानी के लिए कुर्सी
इस अनोखे देश में दूसरे देश से आने वाले पुरुषों को रानी के बैठने के लिए सोफा बनना पड़ता है, जिस पर वह बैठती हैं। यहां गुलाम को अगर शराब पीने को मिलती है तो वह मालकिन के पैरों पर डाली जाती है और इसके बाद ही गुलाम इसे पी पाता है।
देश की नागरिकता लेने के है कुछ नियम
महारानी पैट्रिसिया-1 को ही देश के कानून में परिवर्तन करने का अधिकार है। उन्होंने इस देश की नागरिकता चाहने वाली महिलाओं के लिए कुछ नियम बनाए हैं।
– कोई भी अपनी सहमति से संबंध बनाने की उम्र तक पहुंच गई हो।
– उसके पास कम से कम एक पुरुष नौकर होना चाहिए।
– अदर वर्ल्ड किंगडम के सभी नियमों का पालन करने वाली होनी चाहिए।
– महिला को कम से कम पांच दिन महारानी के महल में बिताने होंगे।
क्या सुविधाएं हैं…
तीन हेक्टयर यानी 7.4 एकड़ की भूमि पर बने देश में कई इमारते हैं। 250 मीटर का ओवल ट्रैक, छोटी झील और घास के मैदान हैं। यहां मुख्य इमारत महारानी का महल है। यहीं से पूरे देश का शासन चलता है। यहां दावत हॉल, लाइब्रेरी, दरबार, यातना गृह, स्कूल रूम, जिम और कैदियों को रखने वाले जेल तहखाने हैं। इसके अलावा यहां स्विमिंग पूल, रेस्टोरेंट और वांडा नाइटक्लब भी हैं।
दिलचस्प बात-
इस देश की सबसे दिलचस्प बात यह है की इस देश की रानी “पैट्रिसिया-1” का चेहरा आज तक बाहरी दुनिया ने नहीं देखा है। Source- Ajabgjab
Waah, is trah ka gyan sanjha krne k loye dhanyavad.