भारत के कम लागत वाले मंगल मिशन यान या मंगलयान ने आज मंगल की कक्षा में 1,000 दिन पूरे कर लिए. इसरो ने कहा, मार्स ऑबर्टिर मिशन (एमओएम) ने छह महीने की निर्धारित मिशन अवधि से इतर आज मंगल की कक्षा में 1,000 दिन पूरे कर लिए. 1,000 दिन का मतलब है 973.24 मंगल सौर दिन और एमओएम ने 388 बार कक्षा की परिक्रमा पूरी कर ली. इसरो के अनुसार उपग्रह अब भी अच्छी हालत में है और उम्मीद के मुताबिक काम कर रहा है. यान से मिले डेटा का वैज्ञानिक विश्लेषण किया जा रहा है।
450 करोड़ रुपए की लागत वाले मिशन का उद्देश्य मंगल की सतह एवं उसकी खनिज संरचना का अध्ययन करना और मंगल के वायुमंडल में मिथेन गैस की मात्रा को मापना है. मिथेन गैस की मौजूदगी से जीवन की संभावनाओं का पता चलता है. मंगलयान में पांच वैज्ञानिक उपकरण हैं- लिमन अल्फा फोटोमीटर (एलएपी), मीथेन सेंसर फोर मार्स (एमएसएम), मार्स एक्जोसफेरिक न्यूट्रल कॉम्पोजिशन ऐनलाइजर (एमईएनसीए), मार्स कलर कैमरा (एमसीसी) और थर्मल इंफ्रारेड इमेजिंग स्पेक्ट्रोमीटर (टीआईएस).
इसरो के अनुसार मार्स कलर कैमरा ने अब तक 715 तस्वीरें ली हैं. सरकार ने पिछले साल कहा था कि अंतर ग्रहीय अनुसंधान के विस्तार के लिए इसरो मार्स ऑबर्टिर मिशन-2 के लिए वैज्ञानिक प्रस्ताव चाह रहा है।
एजेंसी